कल रात 11 बजे कोरोना से मुलाकात हो गई : हास्य व्यंग्य

 


कल रात 11 बजे कोरोना से मुलाकात हो गई .

चलते चलते 6 फीट दूर से बात हो गयी

मैंने कहा कोरोना बड़ा ऊधम मचाए हो .

चुनावी रैली छोड़कर क्यों मेलों ,शादी और कवि सम्मेलनों में आए हो .

क्या तुमको भी लगता है़ डर सरकारी आयोजनों से .

या लाए गए हो तुम भी किन्हीं प्रयोजनों से

अब मैं तुमसे तुम्हारा इलाज चाहता हूँ .

कल या परसो नही अभी और आज चाहता हूँ .

ये सुनकर कोरोना रुआंसा होकर बोला

कवि महोदय तुम सब की पीड़ा गाते हो .

मैं भी तो पीडित हूँ क्यों ना मेरी व्यथा सुनाते हो .

मैं तो पहले आया था लेकिन अब बुलाया है़ .

*सत्ता के सरदारों ने मुझको हथियार बनाया है़ .*

*उनकी मर्जी से ही अब मैं अंदर बाहर जाता हूँ .*

*फिर भी जाते जाते तुम्हें मैं अपना इलाज बताता हूँ .*

*जहाँ जहाँ हिन्दुस्तान में  चुनाव कराया  जाएगा  .*

*वहाँ कोरोना का एक भी मरीज नही पाया जाएगा .*

*देश की भोली जनता  में समझ का अभाव है़ .*

*सुनो कविवर मेरा इलाज सिर्फ और सिर्फ चुनाव है़ .*🤣🤣🤣🤣

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