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किसी पत्रकार के ऊपर यदि मुकदमा है तो क्या वह अपराधी है आप कुछ नहीं बोले ये बताइए कुछ साल पहले तीन कांस्टेबल सोना लूट में जेल गये थे तो वह अपराधी नहीं है वह कोर्ट से बहाल होकर ड्युटी कर रहे हैं ऐसा कई उदाहरण है सांसद विधायक मंत्री किसके ऊपर मुकदमा नहीं है वो संविधान के कुर्सी पर बैठ कर सत्ता चला रहे हैं वो अपराधी नही है एक पत्रकार के ऊपर मुकदमा कौन हैं सी बड़ी बात है जब पत्रकार दरोगा और पुलिस के खिलाफ काम करेगा तो खुन्नस में कहीं से न कहीं मुकदमा लादेगें ही या तो एक रास्ता है पत्रकारिता करना छोड़कर उनके तलवे चाटने का काम करें तब मुकदमा नहीं होगा लेकिन जब पुलिस सांसद विधायक मंत्री ढेर सारे मुकदमा लेकर शान से रह रहे तो पत्रकार को शान से जीने का हक नहीं है मैं बात कर रहा हूं उन संगठनों से तथा पत्रकार से जो किसी पत्रकार के थाने पर बैठा लिया जाता है या उसे भद्दी भद्दी गालियां देकर उसे थाने से भगा दिया जाता है तब वह पत्रकार साथियों को गुहार लगाता है उन संगठनो को पुकारता है तो तरह तरह की बाते करते हैं कि पत्रकार का उत्पीड़न नही सहेंगे  तब पत्रकार साथी थाने पर फोन करते हैं तो पता चलता है कि यह अपराधी है यह जानकर  सभी पत्रकार भाई उसका साथ छोड़ देते और वह संगठन भी जो पत्रकार उत्पीड़न के खिलाफ धरना प्रदर्शन ज्ञापन देने की बात करते हैं हालात का मारा साथी कुछ नहीं कर पाता उसका साथ क्यो लोग छोड़ते हैं थानेदार के बताये अनुशार क्यो ऐसा करते। है पत्रकार भाई जब तक वह आपके साथ सुख में है तब तक आप है जब दुख पड़ता है तो उसका साथ छोड़ देते  हैं और वह कहीं का नहीं होता मैं बात कर रहा हुं उस मुकदमे की जिससे एक पत्रकार की सारी कैरियर बर्बाद हो जाता है हम आप कोन होते हैं। किसी को अपराधी कहने वाले जब तक कोर्ट का फैसला नहीं आता उससे पहले ही हम उसका साथ छोड़ देते हैं सभी भाइयों से निवेदन है की इस मैसेज को पढ़कर समझ कर सभी ग्रुप में भेजने का कष्ट जरूर करें

पुनीत कुमार
जिला संवाददाता
निराला साहित्य समाचार पत्र
जिला प्रभारी
न्यायिक मानवाधिकार परिषद
जिला अध्यक्ष 
CRIME INVESTIGATION DETECTIVE ट्रस्ट
प्रयागराज उत्तर प्रदेश

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